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बिहार में सियासी उलटफेर करने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बुधवार को दिल्ली के दौरे पर हैं। उन्होंने पीएम नरेंद्र मोदी, भाजपा के अध्यक्ष जेपी नड्डा और गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की है। पीएम मोदी समेत भाजपा के शीर्ष नेताओं और बिहार के सीएम नीतीश कुमार की मुलाकात काफी मायनों में खास है। बताया जा रहा है कि इन मुलाकातों में लोकसभा चुनाव को लेकर रणनीति पर चर्चा हुई। भाजपा के शीर्ष नेताओं से मुलाकात के बाद नीतीश कुमार ने मीडिया को भी बयान दिया है। नीतीश ने कहा है कि अब वह एनडीए के साथ ही रहेंगे।
दिल्ली के दौरे पर पहुंचे नीतीश कुमार।
क्या बोले नीतीश कुमार?
बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात के बाद बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने कहा कि हम (बीजेपी-जेडीयू) 1995 से एक साथ थे। बीच में 2 बार इधर उधर जरूर हो गए। लेकिन अब कभी नहीं। फिर यहीं रहेंगे, अब इधर उधर नहीं होंगे। वहीं, आगामी लोकसभा चुनाव के लिए सीट बंटवारे के मामले पर नीतीश कुमार ने कहा कि इस पर चर्चा करने के पीछे कोई तर्क नहीं है। यह आगे किया जाएगा उन्हें शुरू से सब पता है।
राज्यसभा सीटों पर भी चर्चा संभव
JDU सूत्रों ने कहा था कि मुख्यमंत्री कुमार की BJP के शीर्ष नेताओं के साथ बैठक के दौरान राज्य में राज्यसभा चुनाव से संबंधित मुद्दों पर भी चर्चा हो सकती है। बिहार में राज्यसभा की 6 सीट खाली हो रही हैं, जिनके लिए 27 फरवरी को चुनाव होना है। इन 6 सीटों में से 2 पर वर्तमान में JDU का कब्जा है जबकि दो RJD के खाते में हैं।
दिल्ली के दौरे पर पहुंचे नीतीश कुमार।
12 फरवरी को विश्वास मत पर वोटिंग
बिहार में जदयू-भाजपा की नई सरकार की पहली परीक्षा 12 फरवरी को विधानसभा में होगी जब उसे विश्वास मत साबित करना होगा। बिहार विधानसभा में सत्ता पक्ष को 128 जबकि विपक्षी महागठबंधन को 114 विधायकों का समर्थन हासिल है। एआईएमआईएम के विधायक अख्तरुल ईमान किसी गठबंधन के साथ नहीं हैं। स्पीकर अवध बिहारी चौधरी राजद के विधायक हैं।
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