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सीमा कुमारी
आजकल भारतीय किचन मॉड्यूलर होती जा रही है। लोग न सिर्फ स्मार्ट किचन चाहते हैं, बल्कि स्मार्ट कुकिंग भी कर रहे हैं। दरअसल, लोग अपनी सेहत को लेकर काफी जागरूक हो गए हैं। ऐसे में वे कोशिश करते हैं कि वे खाने में कम तेल-मसालों का उपयोग करें। इसी बात को ध्यान में रखते हुए लोग नॉन-स्टिक बर्तनों (Non-Stick Utensils) को अपने किचन का हिस्सा बना रहे हैं।
एक्सपर्ट्स के अनुसार, नॉन स्टिक बर्तनों में खाना पकाना काफी आसान रहता हैं। बर्तन जल्दी गंदे भी नहीं होते हैं। इसलिए घरों में इसका उपयोग होता हैं। लेकिन क्या आपको पता है ये नॉनस्टिक बर्तन आपके स्वास्थ्य के लिए कितनी हानिकारक है? इन बर्तनों से आपको कैंसर जैसी बीमारी का भी खतरा बना रहता हैं। अधिक तापमान पर इन बर्तनों से पीएफओए नामक एक केमिकल निकलता हैं। जो की हमारे स्वास्थ्य के लिए बहुत हानिकारक होते हैं।
डॉक्टर दिव्या निगम के अनुसार, नॉनस्टिक बर्तनों को जब हम खाना बनाने के लिए गरम करते हैं, तो उसमे से एक एसिड निकलता है जिसका नाम ‘पेरफ्लोरो इथोनॉय एसिड’ जो की स्वास्थ्य के लिए बहुत ही हानिकारक होता हैं। इसके अलावा, कई सारे दूसरे एसिड भी निकलते हैं जो कि खाने को दूषित करते हैं। इससे हमारे लंग और लिवर को हानि पहुंचती हैं।
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इससे कैंसर, थायराइड, लिवर डिसऑर्डर जैसी भयानक बीमारियों का खतरा बढ़ जाता हैं। इसलिए नॉनस्टिक बरताओं का इस्तेमाल हमें खाना बनाने के लिए नहीं इस्तेमाल करना चाहिए। नॉन स्टिक बर्तनों की जगह हम धातु के बर्तनों का इस्तेमाल कर सकते हैं। स्टेनलेस स्टील, और लोहे के बर्तनों का इस्तेमाल सेहत के लिए फायदेमंद होता है।
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