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यरुशलम: हमास के खिलाफ चल रही इजरायल की लड़ाई में एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। एक शख्स ने खुद को सैनिक बता इजरायल की सेना की एक यूनिट के साथ हमास के खिलाफ जंग लड़ी, और अब उस पर हथियार की चोरी का आरोप लगा है। जांच में पता चला है कि वह शख्स तो कभी सेना में शामिल ही नहीं था। रविवार को दायर अभियोग के अनुसार 35 साल के रोई यिफ्रैक ने 7 अक्टूबर को हमास के हमले के बाद की स्थिति का फायदा उठाया और हमास के खिलाफ युद्ध में शामिल हो गया।
नेतन्याहू के साथ तस्वीर भी सामने आई
रिपोर्ट्स के मुताबिक, यिफ्रैक ने बड़ी मात्रा में सैन्य हथियार, युद्ध सामग्री और संवेदनशील संचार उपकरण समेत सैनिकों के उपयोग की वस्तुओं की चोरी की। इजरायल की मीडिया ने बताया कि उसने गाजा में लड़ाई के दौरान समय बिताया और यहां तक कि क्षेत्र में सैनिकों से मिलने आए प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की एक यात्रा के दौरान उनके साथ उसकी एक तस्वीर भी सामने आई। अभियोग के मुताबिक, यिफ्रैक 7 अक्टूबर को दक्षिणी इजरायल गया था और उसने खुद को एंटी-टेररिस्ट यूनिट के एक सैनिक, बम निरोधक विशेषज्ञ और शिन बेत आतंरिक सुरक्षा सेवा के सदस्य के रूप में पेश किया था।
17 दिसंबर को गिरफ्तार हुआ था यिफ्रैक
पुलिस ने यिफ्रैक को 17 दिसंबर को गिरफ्तार किया और उसके पास से बड़ी मात्रा में हथियार, गोला बारूद, मैगजीन, वॉकी-टॉकी, एक ड्रोन, सैनिकों की वर्दी और अन्य सैन्य उपकरण बरामद किए गए। यिफ्रैक के वकील ईटन सबाग ने इजरायल के ‘चैनल 12 टीवी’ को बताया कि वह पैरामेडिक के तौर पर मदद के लिए गया था और उसने दो महीने से ज्यादा समय तक बड़ी बहादुरी से जंग लड़ी। सबाग ने कहा, ‘वह लड़ाई के बीच लोगों की मदद और उन्हें बचाने में मदद कर रहा था। उसने आतंकवादियों के खिलाफ लड़ाई भी लड़ी।’ पुलिस ने हथियार चोरी के केस में एक पुलिस अधिकारी समेत 4 और लोगों को भी हिरासत में लिया है।
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